कुमारी आसव के फायदे, यकृत रोग मे

कुमारी आसव के फायदे

आज हम इस पोस्ट में जानेंगे कुमारी आसव के फायदे kumari asav benefits in hindi, घटक द्रव्य, सेवन मात्रा, सावधानी की संपूर्ण जानकारी ।कुमारी एक बहुत ही अच्छा दीपन पाचन [ पेट की अग्नि को बढ़ाकर पाचन को सुधारने वाला] द्रव्य है ।आयुर्वेद विशेषज्ञ द्वारा कई प्रकार के रोगों में कुमारी आसव का उपयोग करते हैं । यह भूख को बढ़ाने वाला, यकृत और प्लीहा की कार्य क्षमता को सुधारता है । एनीमिया के रोगी, इसके साथ ही महिलाओं में मासिक की समस्या , संतानोत्पत्ति में समस्या जैसी समस्याओं के लिए प्रयोग किया जाता है ।

पारद मारीत भस्मीकरण से [ योगरत्नाकर भाग-2 के अनुसार] तैयार किया जाता है । कुमारी आसव में सोमनाथी ताम्र भस्म लोहा भस्म का उपयोग किया जाता है ।

कुमारी आसव के घटक द्रव्य-

योगरत्नाकर भाग-2 के अनुसार इमरान की द्रव्यों का क्वाथ –

  1. कुमारी 512 भाग
  2. हरितकी 50 भाग
  3. धात की 32 भाग
  4. मधु[ शहद] 128 भाग
  5. गुड आवश्यकता के अनुसार

प्रक्षेप द्रव्य-

  1. कंकोल 2 भाग
  2. जाति फल 2 भाग
  3. लवंग 2 भाग
  4. जटामांसी 2 भाग
  5. चव्य 2 भाग
  6. चित्रक 2 भाग
  7. पुष्कर मूल 2 भाग
  8. विभितकी 2 भाग
  9. कर्कट श्रृंगी 2 भाग
  10. ताम्र भस्म एक भाग
  11. लोह भस्म एक भाग

कुमारी आसव के फायदे kumari asav benefits in hindi

  • रक्त की कमी से होने वाले कामला में तथा पांडू[ पीलिया] रोगे के लिए प्रयोग किया जाता है ।
  • यकृत से संबंधित सभी रोगों में लाभ पहुंचाता है । क्योंकि यकृत की कार्यविधि एवं कार्य क्षमता को सुधार कर दीपन पाचन और भूख को बढ़ाता है ।
  • महिलाओं में बांझपन की समस्या, अनियमित मासिक धर्म की कमीआर्तव की कमी इत्यादि में आयुर्वेद विशेषज्ञ द्वारा कुमारी आसव का प्रयोग किया जाता है ।
  • अग्निमांद्य, भूख की कमी, एसिडिटी, तथा खाया पिया ना लगने की स्थिति में भी विशेषज्ञों द्वारा ऐसे लिखा जाता है ।
  • पेट की कब्ज, मस्सो की समस्या में भी उपयोग किया जाता है ।
  • कफ के साथ के साथ आने वाली खांसी तथा प्लीहा से संबंधित रोगों में भी कुमार्यासव का उपयोग किया जाता है ।

सेवन मात्रा-

2 से 4 छोटे चाय के चम्मच अथवा 10 से 20 मिलीलीटर की मात्रा समान जल से दिन में दो बार भोजन के उपरांत अथवा रोग के अनुसार चिकित्सक के निर्देशानुसार सेवन करें ।

विशेष सावधानी-

  • अधिक समय तक निर्धारित मात्रा से अधिक मात्रा में सेवन करने से मूत्र मार्ग में सूजन की समस्या होने की संभावना रहती है ।
  • बच्चे की पहुंच से दूर रखें ।
  • सामान्य तापमान पर कमरे में स्वच्छ एवं सूखे स्थल पर रखें ।

कहां से खरीदें?

हर आयुर्वेदिक मेडिकल स्टोर पर आसानी से उपलब्ध है । आप विभिन्न कंपनियों की कुमारी आसव ऑनलाइन भी मंगवा सकते हैं ।

चेतावनी- उपरोक्त जानकारी चिकित्सा परामर्श नहीं है । किसी भी आयुर्वेदिक औषधि के सेवन से पूर्व चिकित्सक से परामर्श करें ।

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